भारत के हरियाणा राज्य का पलवल एक धार्मिक व ऐतिहासिक शहर है। महाभारत काल में यहाँ पलवासुर नामक राक्षस का राज था, जिसके नाम पर इस शहर का नामकरण किया गया था। भगवान कृष्ण के बड़े भाई बलराम ने पलवासुर का वध किया था। ऐतिहासिक दृष्टि से पलवल एक महत्वपूर्ण स्थान है। स्वतन्त्रता संग्राम में यहां के कई सेनानियों ने अपनी भूमिका निभाई थी। प्रत्येक वर्ष यहाँ बलदेव छत मेले का आयोजन किया जाता है, जिसे लोग एक उत्सव के रूप में मनाते हैं। पलवल शहर को 5 अगस्त 2008 को हरियाणा राज्य के इक्कीसवें जिले के तौर पर घोषित किया गया। दिल्ली से नज़दीकी होने के कारण यहां मेवात, अलीगढ़, गुड़गांव, फरीदाबाद से भी बॉर्डर पर जुड़ता है।
हवाई मार्ग का इस्तेमाल करने वाले पर्यटक, दिल्ली स्थित इंदिरा गांधी अन्तर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा द्वारा पलवल पहुँच सकते हैं। इंदिरा गांधी अन्तर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा, पलवल से लगभग 69 किलोमीटर की दूरी पर है। पलवल का सबसे नजदीकी रेलवे स्टेशन, पलवल रेलवे स्टेशन है, जो भारत के अन्य प्रमुख शहरों से भली-भांति जुड़ा है। पलवल, भारत के राष्ट्रीय राजमार्ग संख्या 2 द्वारा जुड़ा हुआ है, जो सड़क मार्ग द्वारा पहुँचने वाले पर्यटकों के लिए बहुत ही सरल है।
पलवल में बरसात के मौसम को छोड़ कर किसी भी मौसम में जाया जा सकता है।