कुरुक्षेत्र जिले (हरियाणा) का थानेसर शहर, सरस्वती घग्गर नदी के तट पर है। वर्धन वंश के प्रथम शासक प्रभाकर वर्धन के शासनकाल में इस शहर को स्थानेश्वरा नाम से जाना जाता था। वर्ष 1950 तक थानेसर एक गाँव के रूप में था, लेकिन 1973 में इसे कुरुक्षेत्र जिले का मुख्य शहर घोषित किया गया। सूर्यग्रहण के दौरान लगने वाला आध्यात्मिक मेला यहाँ की संस्कृति व सभ्यता को दर्शाता है। इस मेले में मुगल बादशाह अकबर अपने इतिहासकार अबुल फज़ल के साथ जाया करते थे। मुगल शासक शाहजहां के शासनकाल में, फ्रांसीसी यात्री फ्रांकोइस बर्नियर ने भी सिंधु, गंगा, और सूर्यग्रहण के अवसर पर थानेसर के पवित्र कुंड में स्नान का विवरण लिखा है।
बस, रेल, हवाई जहाज या निजी वाहन द्वारा थानेसर पंहुचा जा सकता है, जो अन्य राज्यों से भली-भांति जुड़ी हुई हैं। फ्लाइट से थानेसर जाने के लिए चंडीगढ़ हवाई अड्डा पहुँच कर टैक्सी या बस ले सकते हैं। थानेसर रेलवे स्टेशन, यहाँ का नजदीकी रेलवे स्टेशन है, जिसके द्वारा थानेसर पहुंचा जा सकता है।
हरियाणा की जलवायु अत्यधिक गरम है। इसलिए थानेसर की सैर करने के लिए अक्टूबर से मार्च तक उचित समय है।